Author(s):
बीना, सुषमा सिंह
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beenagupta0614@gmail.com , perfectsushma6@gmail.com
DOI:
Not Available
Address:
बीना1, डॉ. सुषमा सिंह2
1वरिष्ठ षोध अध्येता, गृह विज्ञान विभाग, ज्वालादेवी विद्या मंदिर पी.जी. कॉलेज, कानपुर.
2षोध निर्देेषिका, एसोसिएट प्रोफेसर गृह विज्ञान विभाग, ज्वाला देवी विद्या मंदिर पी.जी. कॉलेज, कानपुर.
*Corresponding Author
Published In:
Volume - 10,
Issue - 3,
Year - 2022
ABSTRACT:
प्रस्तुत षोधपत्र में मद्यपान करना व्यक्ति की सबसे बड़ी बुराई होती है सुल्तानपुर जिले में मद्यपानी अभिभावकों में उत्पन्न हुई समस्या जो उनके बच्चों में नैतिक मूल्यों के पतन के रुप में प्रकट हुई है। यह अत्यन्त ही चितंन का विषय है सरकार के द्धारा समय-समय मद्यपान को रोकने के लिए बहुत से कार्यक्रम भी चलाए गये। किसी भी बच्चे की प्रथम पाठषाला उसका परिवार होता है उसका लालन-पालन भरण-पोषण परिवार में ही होता है बालक के व्यक्तित्व के विकास में संस्कारो की महत्वपूर्ण भूमिका होती है और अच्छे संस्कारों से ही नैतिक मूल्यों का विकास होता है और एक मद्यपानी अभिभावक कभी भी अपनी इस जिम्मेदारी को पूरा नहीं कर पाते क्योकि मद्यपानी अभिभावक जब मद्यपान करते है तब उनका मस्तिष्क काम नहीं करता उन्हे अच्छे बुरे की सुध-बुध नहीं रहती हैं वे इस स्थिति में होते ही नहीं है की वे अपने बच्चों को नैतिक मूल्यों का पाठ पढा सके। परन्तु वर्तमान समय में बाल अपराध के इजाफे को देखकर नैतिक मूल्यों की षिक्षा अत्यन्त महत्वपूर्ण हो गई है। अतः प्रस्तुत अध्याय में मद्यपानी अभिभावक का उनके बच्चों के प्रति नैतिक मूल्यों की षिक्षा के विषय में सामान्य टिप्पणी प्रस्तुत की जाएगी जिससे इस समस्या का समाधान निकाला जा सके और उपयुक्त निष्कर्ष प्राप्त हो सके।
Cite this article:
बीना, सुषमा सिंह. मद्यपानी अभिभावकों का उनके बच्चों के नैतिक मूल्यों के पतन में योगदान एंव समाधान. International Journal of Advances in Social Sciences. 2022; 10(3):105-0.
Cite(Electronic):
बीना, सुषमा सिंह. मद्यपानी अभिभावकों का उनके बच्चों के नैतिक मूल्यों के पतन में योगदान एंव समाधान. International Journal of Advances in Social Sciences. 2022; 10(3):105-0. Available on: https://ijassonline.in/AbstractView.aspx?PID=2022-10-3-1
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