Author(s):
अनूप यादव, प्रमोद तिवारी
Email(s):
anoopyadav9190@gmail.com , pktiwari61@gmail.com
DOI:
Not Available
Address:
अनूप यादव1, डाॅ. प्रमोद तिवारी2
1जे.आर.एफ., शोध छात्र, भूगोल विभाग, नागरिक पी.जी. काॅलेज, जंघई, जौनपुर, उत्तर प्रदेष.
2प्राचार्य एवं विभागाध्यक्ष, भूगोल विभाग, नागरिक पी.जी. काॅलेज, जंघई, जौनपुर, उत्तर प्रदेष.
*Corresponding Author
Published In:
Volume - 9,
Issue - 1,
Year - 2021
ABSTRACT:
हिन्द महासागर की भू-राजनीतिक एवं सामरिक महत्व’ एक बहुत ही महत्वपूर्ण विषय है। आज यह सम्पूर्ण विश्व में चर्चा का विषय बना हुआ है। प्रस्तुत शोध-प्रपत्र में हिन्द महासागर की स्थिति विस्तार तथा इसके सामरिक-आर्थिक महत्व का अध्ययन किया गया है। सम्पूर्ण विश्व एवं महाशक्तियों के द्वारा किये जाने वाले सामाजिक, आर्थिक, राजनैतिक एवं सैन्य शक्तियों की सम्पूर्ण पहल का अध्ययन किया गया है। हिन्द महासागर के तटीय देषों की भूमिका एवं स्थिति का अध्यय किया गया है तथा हिन्द महासागर में पाये जाने वाले विभिन्न प्रकार के संसाधनों का अध्ययन किया गया है। भारत के विशेष सन्दर्भ में हिन्द महासागर भू-राजनीति की नीतियों का अध्ययन तथा भारत की भावी योजनाओं का विष्लेषण किया गया है।
Cite this article:
अनूप यादव, प्रमोद तिवारी. हिन्द महासागरीय भू-राजनीतिक नवीन प्रवृत्ति: भारत की भूमिका. Int. J. Ad. Social Sciences. 2021; 9(1):34-36.
Cite(Electronic):
अनूप यादव, प्रमोद तिवारी. हिन्द महासागरीय भू-राजनीतिक नवीन प्रवृत्ति: भारत की भूमिका. Int. J. Ad. Social Sciences. 2021; 9(1):34-36. Available on: https://ijassonline.in/AbstractView.aspx?PID=2021-9-1-6
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